किस्मत मात्र एक छलावा है कर्म के गीत गाओ,
हो गई सुबह ख्वाब छोड़ो हकीकत से आँख मिलाओ।
जो क़िस्मत में होगा वो ख़ुद चलकर आएगा,
जो नहीं होगा वो पास आकर भी दूर चला जाएगा।
किस्मत कि लकीरों में तुम लिखे हो या नही पता नहीं,
पर हाथों की लकीरों पे तुम्हें हर रोज लिखता हूँ।
दुआ की न पूछो की कितनी है कुदरत,
उठा के हाथ देखो बदलती है किस्मत।
किस्मत ने कहा, आज से सब हुआ तेरा,
मैंने कहा, अभी मन नहीं भरा मेरा।
Kismat Shayari in Hindi – किस्मत शायरी हिंदी में
